तुम्हारी प्रोफाइल देखी
और देखीं कई ब्लैक एंड वाइट तस्वीरें वहाँ
तुम्हारे भीतर का सुनहरा अँधेरा दीप्त था
तुम्हारी प्रोफाइल देखी
और देखीं कई सारी रचनाएँ तुम्हारी
कलम किसी पशोपेश में शायद लिप्त था
तुम्हारी प्रोफाइल देखी
और देखीं कई कवियों की कविताएं वहाँ
न जाने क्यों कलाकारों का वो डेरा सुप्त था
तुम्हारी प्रोफाइल देखी
और जागी तुम्हारी वाल पे आने की प्यास
मैं अपने प्रशंसकों से अब तक तो तृप्त था
~तुषारापात®